किसी
भी व्यक्ति को देखकर उसकी चारित्रिक विशेषताओं का आकलन किया जा सकता है। चेहरा
हमारे व्यक्तित्व और स्वभाव का प्रतिनिधित्व करता है। मन के भीतर जो भाव चलते हैं
वही चेहरे पर प्रतिबिंबित होते हैं। आइए जानते है ज्योतिष के आधार पर ठोड़ी की
बनावट से कैसे की जाती है व्यक्ति की पहचान।
लंबी ठोड़ी- ऐसा व्यक्ति शील स्वभाव तथा स्थिर
बुद्धि वाला होता है। जीवन में अपना रास्ता स्वयं तय करता है। प्रेमभाव की कमी
होने से कई बार जीवन नीरस होता है।
ठोड़ी के नीचे गड्ढा (डिम्पल)- जिस व्यक्ति की ठोड़ी
के ठीक नीचे गड्ढा होता है, वह
भाग्यशाली, बुद्धिमान
तथा सज्जन वृत्ति का होता है। लोक जीवन में सम्मान का अधिकारी होता है।
ठोड़ी
के सामने गड्ढा- ऐसे व्यक्ति कामुक होते हैं। स्त्री या पुरुष दोनों ही रसिया
वृत्ति के होते हैं। इनका जीवन सदा ऐश्वर्यशील होता है। धनवान तथा सांसारिक दृष्टि
से सफल होते हैं।
छोटी
ठोड़ी- दुर्भाग्य का प्रतीक है। ऐसे व्यक्ति सदा धन का अभाव अनुभव करते हैं।
प्रेम संबंधों में भी असफल रहते हैं तथा सामान्य जीवन व्यतीत करते हैं।
गालों
के बीच गड्ढे- जिस स्त्री या पुरुष के गालों में गड्ढे यानी डिम्पल पड़ते हैं वे
अत्यंत भाग्यशाली होते हैं। जीवन की हर सुख-सुविधा का भोग करते हैं। कामुक नहीं
होते, परंतु यौन
संबंधों का भरपूर आनंद लेते है !
दांतों की बनावट से जानिए अपना भविष्य
दांतों की बनावट से जानिए अपना भविष्य
पना भविष्यपंक्तिबद्ध दांत- सौभाग्य तथा ऐश्वर्य के
प्रतीक हैं। ऐसे व्यक्ति जीवन में हर प्रकार का सुख भोगते हैं। सुशील तथा सज्जन
वृत्ति के होते हैं।
टेढ़े-मेढ़े दांत- संघर्ष तथा असफलता का चिह्न
हैं। ऐसे व्यक्ति सत्य वक्ता नहीं होते तथा छल-कपट से जीवन निर्वाह करते हैं।
सामने के दांतों में छिद्र- जिस पुरुष के सामने
के दो दांतों में छिद्र होता है वह बड़ा भाग्यशाली, बुद्धिमान, विद्वान
तथा परोपकारी होता है, परंतु
जिस स्त्री के दांतों में छिद्र हो वह दुर्भाग्य का सामना करती है, वैधव्य का संताप भोगती है तथा हर
प्रकार से दुखी रहती है।
सामने
वाले दो बड़े दांत- भाषण में प्रवीणता दर्शाते हैं। ऐसे व्यक्ति शत्रु का नाश करने
वाले तथा आदर्श जीवन व्यतीत करने वाले होते हैं।
दांतों
की पंक्तियां ऊपर-नीचे ठीक बैठती हों- ऐसे व्यक्ति वाक्-पटु तथा गौरवशाली होते
हैं। बुद्धिमान तथा स्वार्थरहित भावना से जनसेवा करते हैं।
दांत
के ऊपर एक दांत- ऐसे व्यक्ति शत्रु को परास्त करते हैं। साहसी तथा युक्तिपूर्ण
होते हैं।
एक
दांत दबा हुआ तथा एक उठा हुआ- किसी व्यक्ति के ऊपरी दांतों की यदि ऐसी स्थिति है
तो वह संतुलित विचारों का स्थिर प्राणी होता है। दु:ख-सुख को समभाव से भोगता है और
सदा विवेक से काम लेता है।
शिशु का दांतयुक्त जन्म लेना- शिशु का
दांतयुक्त जन्म लेना माता-पिता के लिए अहितकर तथा मृत्यु का सूचक माना जाता है।
शिशु
का पहले ऊपरी दांत निकलना- शिशु का पहले ऊपरी दांत निकलना नाना परिवार के लिए घातक
सिद्ध होता है।
स्त्री
के मध्य दांतों में छिद्र- जिस स्त्री के ऊपर के मध्य दांतों में छिद्र यानी बिरल
होती है, वह वैधव्य का
कष्ट भोगती है।
दांत
का कटकटाना- रात को सोते समय दांतों का कटकटाना दुर्भाग्य का सूचक है।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें